जयपुर में दो बुजुर्ग महिलाओं से गोल्ड लूट मामले का विधायकपुरी थाना पुलिस ने खुलासा किया है। पुलिस ने दिल्ली में दबिश देकर अन्तरराज्यीय गुजराती लूट गैंग के मास्टर माइंड सहित दो बदमाशों को अरेस्ट किया है। लूट की वारदातों को अंजाम देकर रेलवे स्टेशन की पार्किंग में ऑटोरिक्शा को खड़ा कर छिपाकर भागे थे। पुलिस पूछताछ में आरोपियों ने अय्याशी की लत के चलते लूट-चोरी की वारदात करना कबूल किया है।
डीसीपी (साउथ) दिगंत आनंद ने बताया- अन्तरराज्यीय गुजराती लूट गैंग के मास्टर माइंड गोविंद राजकोटिया (71) और अश्विन मीठापुरा (23) निवासी भावनगर गुजरात हाल टेगौर गार्डन नई दिल्ली को अरेस्ट किया है। पुलिस ने 100 से अधिक CCTV और 500 ऑटोरिक्शा ड्राइवरों से पूछताछ कर लूट गैंग के बदमाशों को चिह्नित किया। SHO (विधायकपुरी) बनवारी लाल मीना के नेतृत्व में टीम ने दिल्ली के 25 गज कच्ची बस्ती रघुवीर नगर में दबिश देकर दोनों आरोपियों को धर-दबोचा।
पुलिस से बचने के लिए मास्टर माइंड गोविंद राजकोटिया ने अपना हुलिया बदल लिया था। सिर मुण्डन करवाने के साथ मूछें कटवा दी थी। पिछले करीब 11 साल से दिल्ली में ऑटोरिक्शा किराए पर लेकर सवारियों से लूट की कई वारदातों को अंजाम दे चुके है। जयपुर में एक ही दिन में दो महिलाओं से गोल्ड लूट की वारदात को गैंग ने अंजाम दिया। वारदात करने के बाद ऑटोरिक्शा को रेलवे स्टेशन की पार्किंग में खड़ा कर दिल्ली भाग गए थे। पुलिस वारदात में यूज ऑटोरिक्शा को जब्त कर गैंग के अन्य बदमाशों को पकड़ने के लिए दबिश दे रही है।
प्री-प्लानिंग के तहत वारदात साल-2014 से सरगना गोविंद जयपुर में रहकर ऑटोरिक्शा खरीदकर चल रहा है। प्लानिंग के तहत गुजराती जानकारों को लेकर ऑटोरिक्शा में आगे की सीट पर बैठाकर बस-रेलवे स्टेशन के आस-पास स्थानों की रेकी करते है। रेकी के बाद बुजुर्ग महिलाओं को टारगेट कर सस्ते किराए पर सौदा तय कर ऑटोरिक्शा में बैठा लेते है। करीब 200-300 मीटर दूर पर प्री-प्लन के तहत गैंग के बदमाश ऑटोरिक्शा को रुकवाते है। टायर में हवा कम होने का बहाना बनाकर ड्राइवर के पास बैठे साथियों को पीछे सीट पर भेज देते। बुजुर्ग सवारी को चारों ओर से घेरकर धक्का-मुक्की कर ध्यान भटकाकर पहने गए सोने के गहने व कीमती सामान पार कर लेते। वारदात को अंजाम देने के बाद इशारा मिलते ही ड्राइवर अपने साथियों को 10 मिनट में छोड़कर वापस आने की कहकर बुजुर्ग सवारी को रोड़ पर उतार कर फरार हो जाते।
अय्याशी और सट्टे की लत में बने क्रिमिनल गैंग के मास्टर माइंड गोविंद राजकोटिया अय्याशी और सट्टे का शौकीन है। इसी कारण उसके परिवार ने भी उसे घर से निकाल दिया। मास्टर माइंड दिल्ली और जयपुर में रहने लगा। साल-2014 में जयपुर के गलतागेट इलाके में रहने के दौरान उसकी पत्नी की मौत हो गई। दूसरी शादी कर वह दिल्ली चला गया। ऐश-आराम की जिंदगी जीने के लिए दिल्ली में गैंग बनाकर ऑटोरिक्शा में सवारियों से गोल्ड व सामान चोरी कर लेन की वारदातों को अंजाम देने लगा। पिछले करीब 11 साल से दिल्ली में आरोपी गोविंद राजकोटिया इस तरह की ही वारदातों को अंजाम दे रहा है।
दो महिलाओं से लूट कर भागे पहली घटना मानसरोवर निवासी 66 वर्षीय संगीता नंदवानी के साथ घटी। वह 30 जून को अपने बेटे के साथ अमरापुर मंदिर दर्शन करने आई थीं। दर्शन के बाद दोपहर करीब 12:30 बजे अमरापुर गेट से मानसरोवर लौटने के लिए उन्होंने एक ऑटो को रोका। ऑटो में पहले से चालक सहित दो लोग सवार थे, जिनके साथ किराया तय कर वह बैठ गईं। थोड़ी दूर चलने के बाद दो और लोग ऑटो में सवार हो गए। चारों आरोपियों ने चलते ऑटो में संगीता के सिर पर वार कर उनके दोनों हाथों से लगभग 40 ग्राम वजन के सोने के कंगन छीन लिए और अजमेर पुलिया के पास उतारकर फरार हो गए।
दूसरी घटना झोटवाड़ा निवासी 56 वर्षीय हेमलता वासवानी के साथ हुई। वे भी 30 जून को सुबह 11 बजे अमरापुर मंदिर दर्शन के लिए आई थीं और दोपहर करीब 1 बजे अपनी देवरानी कमला वासवानी के साथ लौट रही थीं। अमरापुर मंदिर के सामने उन्होंने एक ग्रीन-यलो ऑटो रोका, जिसमें पहले से दो व्यक्ति बैठे थे। ऑटो में बैठने के कुछ ही मिनट बाद चालक ने एक और आदमी को बिठा लिया। इसके बाद थोड़ी ही दूरी पर चालक ने दोनों महिलाओं को यह कहकर उतार दिया कि 10 मिनट में वापस आएगा, लेकिन ऑटो लेकर भाग गया। बाद में हेमलता ने देखा कि उनके हाथ से लगभग 28 ग्राम का सोने का कंगन गायब था।
